Aseem Anand Ki Aur (Hindi Translation of Happiness Unlimited Awakening With Brahma Kumaris) by Sister Shivani संसार में आनंद के अभाव का कारण है - निर्भरता I प्रसन्नता का अर्थ यह नहीं कि हम किसी 'वस्तु' या 'व्यक्ति' पर निर्भर रहें या इसे किसी 'स्थान' पर खोज़ सकें I हम अपने जीवन में हर चीज़ को व्यवस्थित करने के नाम पर निरंतर अपनी प्रसन्नता को स्थगित करने चले जाते हैं I प्रसन्नता तभी संभव हैं जब हम प्रत्येक व्यक्ति को, प्रत्येक क्षण व् परिस्तिथि में उसी रूप में स्वीकार कर सकें, जैसे कि वे हैं I इसका अर्थ होगा कि हमें दूसरों को परखने या उनका प्रतिरोध करने की आदत पर रोक लगानी होगी I प्रसन्नता या आनंद का अर्थ हैं अपने दायित्व के प्रति जागृत होना व् उसे स्वीकार करना I जब हम पवित्रता, शांति एवं प्रेम के अपने सच्चे अस्तित्व के साथ जुड़ी भावनाओं व् विचारों का चुनाव करते हैं तो जैसे सब कुछ परिवर्तित हो उठता हैं : हम दूसरों से माँगने के स्थान पर उनके साथ बाँटने लगते हैं; संग्रह करने के बजाय त्याग करना सीख जाते हैं; अपेक्षाओं के स्थान पर स्वीकृति को आश्रय देने लगते हैं; भविस्य और अतीत को छोड़ वर्तमान में जीने लगते हैं I हम ख़ुशी, संतोष व् परमानंद से भरपूर जीवन जी सकते हैं क्योंकि हमारे पास चुनने का विकल्प तथा शक्ति हैं I प्रसन्नता एक निर्णय हैं I सिस्टर शिवानी ब्रह्माकुमरीज़ के राजयोग ध्यान की साधिका हैं तथा उन्होंने इंजीनियरिंग की शिक्षा प्राप्त की हैं I वे अहंकार, तनाव, क्रोध व् भय जैसे गहन भावों का विश्लेषण कर लोगों को उनके विचारों के लिए निजी रूप से ज़िम्मेदारी लेने के लिए प्रेरित करती हैं, जिससे वे अपने लिए एक ऐसे जीवन का चुनाव कर सकें, जहाँ स्वीकृति व् संतोष सहज प्रतीत हों I वे आध्यात्मिकता को ग्रहण करने के लिए एक तार्किक किंतु सहज उपाय प्रस्तुत करती हैं और इस प्रकार सभी के तथा ईश्वर के साथ मधुर संबंध स्थापित कर रही हैं I सुरेश ओबेरॉय अंतर्राष्ट्रीय ख्याति प्राप्त फ़िल्म अभिनेता हैं, जिनके खाते में 250 से अधिक फिल्में दर्ज हैं I एक बहु- प्रतिभावान व्यक्ति होने के नाते उन्होंने इस माध्यम की सभी विधाओं में श्रेष्ठता हासिल की हैं I वे पूरे संसार में आध्यात्मिकता के प्रचार की गहन इच्छा रखते हैं, क्योंकि उनका मानना है कि यह शरीर व मन को आरोग्य प्रदान करने व सच्चे प्रेम तथा आनंद को पाने का एकमात्र उपाय हैं I