Diwan E Meer (Meer Taki Meer Ka Sampurna Diwan) By Meer Taki Meer
मीर को 'ख़ुदा -ए -सुखन' यानी काव्य का ईश्वर कहा जाता है। सदियों से मीर तक़ी 'मीर' उर्दू शायरी के सर्वोच्च शिखर पर है। ग़ालिब से लेकर आज तक से शायरों ने मीर को श्रद्धा और सन्मान सैयद किया है। मीर प्रेम और करुणा के देव दूत है, उनकी शायरी में जीवन और जगत का एक मनोहर रूप दिखता है। मीर के दर्द में हमें अपना दर्द दिखता है। 'मीर' की तीसरी जन्म - शताब्दी (२०२२) से कुछ ही वर्ष पूर्व उनकी शायरी व्याख्या सहित पहली बार किसी भाषा में छपकर इस संकलन के माधयम से आई है। 'दिवान-ए - मीर' की यह व्याख्या किसी को भेंट करने हेतु,एक बेशकीमती उपहार भी है....